बुद्धिमान राजा की कहानी हिंदी में – Moral Story in Hindi

Hindi Kahaniya : आज के इस Moral Story in Hindi में बुद्धिमान राजा की कहानी के बारे में बताने वाले हैं यह एक प्रकार का मोरल कहानी है जिसे इंग्लिश में हम Moral Stories in Hindi भी कह सकते हैं। Buddhiman Raja Ki Kahani में मुख्य तीन प्रकार के किरदार है। पहला राजा दूसरा राजकुमारी और तीसरा राजकुमार का दामाद मतलब की राजकुमारी का पति।

इस कहानी में हम लोग राजा विक्रम सिंह की बुद्धिमानी की कहानी के बारे में पढ़ने वाले हैं जिसमें वह अपनी राजकुमारी की शादी बड़े ही बुद्धिमान दिमाग से अच्छी तरह से कराया था। साथ ही इस कहानी में राजा विक्रम सिंह के द्वारा अपनी प्रजा के मदद के बारे में भी बताया गया है। तो आइए अब हम लोग बुद्धिमान राजा की कहानी के बारे में जानते हैं।

बुद्धिमान राजा की कहानी

बुद्धिमान राजा की कहानी हिंदी में
बुद्धिमान राजा की कहानी हिंदी में

एक राज्य में विक्रम सिंह नाम का एक बहुत ही ज्यादा बुद्धिमान राजा रहा करता था। वह राजा इतना ज्यादा बुद्धिमान था कि वह अपने कार्य अथवा निर्णय को लेकर बहुत ज्यादा चर्चा में रहा करता था। क्योंकि उनका फैसला करने का अंदाज है निराला था और उनका तरीका इतना ज्यादा बेहद पसंदीदा था कि राज्य की सभी लोग राजा मतलब कि विक्रम सिंह को बहुत ज्यादा बुद्धिमानी राजा कहा करता था।

राजा तो बेहद बुद्धिमान था लेकिन एक कार्य के कारण राजा बहुत परेशान रहा करता था क्योंकि उस कार्य में उनका बुद्धि भी काम नहीं कर रहा था। राजा कुछ दिनों से बहुत ज्यादा परेशान दिख रहा था क्योंकि उनकी बेटी सुरेखा की अब शादी की उम्र हो चुकी थी लेकिन सुरेखा अभी तक किसी भी राजकुमार या किसी भी लड़की को पसंद नहीं किया।

राजकुमारी सुरेखा बहुत ज्यादा खूबसूरत थी और राज्य के सभी लोगों तथा आसपास के सभी राजाओं के राजकुमार सुरेखा राजकुमारी के दीवाने हुआ करते थे। लेकिन सोएगा किसी को भी पसंद करने से इनकार कर देते थे और वह कहती थी कि जिसे मैं पसंद करूंगा मैं उसी से शादी करूंगी।

इन सभी चीजों को सोच समझकर राजा बहुत परेशान रहा करता था क्योंकि उनकी बेटी की शादी की उम्र हो चुकी थी और उनकी बेटी शादी करने के लिए राजी नहीं हो रही थी। उन्होंने कई बार अपनी बेटी सुरेखा से पूछा कि बेटी तुम्हें कैसा राजकुमार चाहिए क्या तुम्हें कोई राजकुमार पसंद है तुम बताओ मैं तुम्हें उनसे शादी करवा दूंगा।

उमर बीती जाए थी लेकिन राजकुमारी सुरेखा शादी के लिए हां नहीं कर रहे थे जिसका नाम से राजा बहुत ही परेशान रहा करता था। 1 दिन की बात है राजा ने पूरे राज्य में ऐलान किया है कि सभी लोग राज दरबार में आए हैं आम आदमी यादव राजा राजकुमार कोई भी आए और मेरी बेटी को मनाए जैसे वह हम मना लेगा उसे वह शादी करेगा चाहे वह राजाओं की आम आदमी हो।

यह सुनकर राज्य के सभी लोग राजा के घर उनके दरबार में उनकी बेटी सुरेखा को मनाने के लिए बहुत सारे लोग आए थे उसमें से बहुत सारे आम आदमी थे और उसमें से बहुत सारे लोगों का राजा पता राजकुमार थे। बारी बारी करके अरे क्या करेगी राजकुमारी के पास पेश किया गया लेकिन कोई भी राजकुमारी सुरेखा को इंप्रेस नहीं कर पाया उन्हें खुश नहीं कर पाया इसी कारण से सभी लोगों को फिर से वापस भेज दिया गया था।

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बुद्धिमान राजा की कहानी हिंदी में

इस बात को लेकर आ जा फिर से परेशान होने लगा और वह सोचने लगा कि मेरी बेटी सुरेखा राजकुमारी के दिमाग में क्या चल रहा है वह शादी करने के बारे में इतना हिचकते क्यों है। क्योंकि जब भी राजा अपनी बेटी राजकुमारी सुरेखा से उनकी शादी के बाद किया करता था तो उनकी बेटी सुरेखा ने हमेशा उनकी बातों को अनदेखा किया करती थी।

एक दिन की बात है राजकुमारी सोएगा कहीं घूमने जा रही थी उन्होंने देखा कि रास्ते में एक जगह बहुत ज्यादा भीड़ दिखाई दे रही है। उसने अपने नौकरों से कहा कि तुम लोग जाकर देखो रास्ते में इतनी भीड़ क्यों है और रास्ता जाम क्यों है मुझे जल्दी जाना है वक्त जल्दी जाओ और रास्ता को खाली कराओ।

सभी नौकर जल्दी-जल्दी उस भीड़ के पास पहुंचता है और देखता है कि भीड़ के बीच में एक व्यक्ति घायल पड़ा हुआ है और एक नौजवान उसे अपने कंधे में ले जाने का प्रयास कर रहा था। नौकर वही देख रहा था कि अचानक राजकुमारी अपने सफर घोड़े से उतारकर नीचे आ गई है और देखे की बहुत ज्यादा भीड़ है और एक नौजवान उस घायल आदमी को उठाकर ले जा रहा था।

उस नौजवान लड़का से राजकुमारी सुरेखा कहती है कि क्या तुम्हें इतना भी पता नहीं है कि किसी घायल को रोड पर क्यों रखे हो इतनी ज्यादा भीड़ हो गई है रास्ता भी जाम हो चुका है और मुझे अपने घर जल्दी वापस जाना है इस कारण से जल्दी-जल्दी भीड़ हटाओ मुझे घर जाने के लिए रास्ता दो।

तभी वह नौजवान गुस्सा हो जाता है और रानी मतलब की राजकुमारी सुरेखा से कहता है कि क्या तुम्हें यह तुम्हारे अंदर जरा सा मानवता नहीं है। क्या तुम देख नहीं पा रही हो कि एक घायल व्यक्ति है दर्द से तड़प रहा है और तुम्हें जल्दी घर जाने की पड़ी है मैं इसे अपने कंधे पर अस्पताल ले जाने का प्रयास कर रहा हूं और तुम कहती हो गई जल्दी से मेरा रास्ता खाली कर दो।

आगे वह नौजवान लड़का कहता है कि तुम राजकुमारी हो इस राज्य की और तुम अपनी प्रजा की सेवा नहीं कर पा रही हो तो कैसी राजकुमारी हो तुम। तभी राजकुमारी कहती है कि अच्छा है तुम इसे अस्पताल लेकर जाओ मैं थोड़ा देर रुक जाती हूं फिर उसके बाद मैं अपना घूमने जाऊंगी फिर घर जाऊंगा

Moral Story in Hindi

सुरेखा राजकुमारी जाओ पूरी बाग बगीचा घूम कर अपने घर जाती है तो अपने पिताजी मतलब के विक्रम सिंह राजा को बहुत ज्यादा परेशान देखती है। राजकुमारी सुरेखा कहती है कि पिताजी आप किस लिए परेशान हैं आप अपनी परेशानी मुझे बताइए मैं तुरंत ही आपके परेशानी को हल कर देती हूं। राजा विक्रम सिंह कहता है कि मेरी परेशानी तुम ही हो बेटी जब तक तुम्हारी शादी नहीं हो जाती तब तक मैं परेशान ही रहूंगा।

यह सुनकर राजकुमारी सुरेखा कहती है कि पिताजी आप चिंता ना करें अगर भगवान ने चाहा तो हमारी शादी जल्दी हो जाएगी। यह सुनकर राजा बहुत खुश होता है क्योंकि बस इसी बात का इंतजार वह काफी दिनों से कह रहा था कि उनकी बेटी बस शादी के लिए राजी हो जाए और उन्हें के लिए एक अच्छा सा राजकुमार ढूंढा जा सके।

तभी उसके दूसरे ही दिन राज्य में दरबार लगता है और लोग अपनी परेशानियों को बताने के लिए राजा के दरबार में आते हैं। इस बार सभी लोग राजा के दरबार में आए हैं और हमें लोग कहते हैं कि राजा इस बार हमारे गांव में बारिश की कमी के कारण फसल नहीं हुए हैं इस कारण से हम लोगों को कोई कार्य करने के लिए काम नहीं बचा है और पैसे भी नहीं बचे हैं।

इस पर आप अपनी तरफ से कुछ सोचिए और अपनी प्रजा के मदद के बारे में सोचिए। तभी राजा का विक्रम सिंह कहता है कि ठीक है मैं सोचकर बताऊंगा तुम लोग कुछ दिन का इंतजार करो। फिर उसके बाद सभी लोगों के जाने के बाद राजा आपस में बैठता है रखने सभी मंत्रियों को बुलाता और कहता है कि यह बात का हल निकालो कि राज्य के लोगों की मदद कैसे किया जाए।

तभी एक मंत्री कहता है कि कुछ और आप राज्य के लोगों को बुलाकर कुछ पैसे दे दिया कीजिए ताकि हरा जी के किसान का घर परिवार चल सके। तभी दूसरा मंत्री कहता है कि हमारे राजकोष में इतने पैसे नहीं है कि राज्य भर के सभी किसानों और सभी मजदूरों को इतना पैसा दिया जा सके।

तभी एक और बुद्धिमान मंत्री कहता है कि हुजूर मैं एक राय देता हूं तभी राजा कहता है यह बिल्कुल शौक से अपनी राय बताओ। वह बुद्धिमान मंत्री कहता है कि अपने आदि को लोगों को बिना किसी कर कि हम सभी को लोन दे देते हैं और कहते हैं कि जब तुम लोगों का फसल हो जाए तब इस रकम को बिना किसी टैक्स दिए केवल मूल रकम को वापस कर दे।

एक दिन की बात है जब राजकुमारी फिर से टहलने जा रहे थे तो उसी लड़का को जो समय घायल की मदद कर रहा था वही लड़का राजकुमार के भेष में घूम रहा था। यह देखकर राजकुमारी कहती है कि तुम कौन हो और राजकुमार के कपड़े में क्या कर रहे हो। तभी राजकुमार कहता है कि मैं राजकुमार हूं तो ही मैं राजकुमार के भेष में घूम रहा हूं।

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बुद्धिमान राजा की कहानी हिंदी में

ऐसे राजकुमारी कहती है कि तो फिर तुम उस दिन ऐसे क्यों घूम रहे हो तभी राजकुमार कहता है कि मैं तो राजकुमार पहले से ही हूं फिर चाहे मैं किसी भी तरह का पोशाक पहनो हमारे राजकुमार में किसी भी दरगाह कोई कमी नहीं आने वाली है।

यह देखकर राजकुमारी हंसने लगती है और कहती है कि तो आप कहां के राजकुमार है। यह सुनकर राजकुमार कहता है कि मैं बदल के राजा राजकुमार हूं मैं आपके राज्य में घूमने आया था और आपके पिताजी के द्वारा ही का ऐलान सुना कि जो भी हमारी बेटी सुरेखा राजकुमारी को मनाएगा मैं उससे उसकी शादी करा दूंगा।

आगे राजकुमार कहता है कि मुझे तो नहीं लगता है कि मैं राजकुमारी सुरेखा को मना पाऊंगा। तभी राजकुमारी सुरेखा कहती है कि आप चिंता मत कीजिए मैं आपसे विवाह करने के लिए राजी हो इस बात को मैं अपने पिताजी को कहूंगा।

ऐसे भी देखकर विक्रम सिंह राजा बहुत खुश होता है कि उन्होंने यह अपनी बेटी को मनाने के लिए बदल गए राजकुमार को बुलाया था और उन्हें नहीं पता था कि उनकी बेटी इतनी जल्दी शादी के लिए मान जाएगा। अब राजा की सारी परेशानी खत्म हो चुके थे क्योंकि उनकी बेटी सुरेखा राजकुमारी शादी के लिए हां कर दी थी रहो।

फिर उसके बाद उन दोनों की बहुत ही जबरदस्त तरीकों से शादी कर दिया गया था और फिर वे दोनों एक दूसरे के साथ खुश रहने लगे थे। हम राजा भी हमने आज हमें सभी काम को आराम से कर रहा था क्योंकि उनके जो परेशानी का कारण था हुआ परेशानियां अब खत्म हो चुकी थी।

बुद्धिमान राजा की कहानी से हमें क्या सीख मिलती है?

आशिकी स्लिप में हम लोग बुद्धिमान राजा की कहानी, Buddhiman Raja Ki Kahani, Moral Stories in Hindi, Short Stories in Hindi, Raja Ki Kahani इत्यादि के बारे में बताया है हमें उम्मीद है कि आपको इस कहानी में बहुत ज्यादा सीट मिला होगा। साथ ही पूजा भी बता दें कि इस कहानी से हमें यह सीख मिलती है कि हमें अपनी बुद्धिमानी के जरिए किसी भी कार्य को आसान कर सकते हैं और अपने आसान कार्य को बहुत ही जल्दी कर सकते हैं।

FAQ बुद्धिमान राजा की कहानी
  1. बुद्धिमान राजा की कहानी में राजा के परेशान रहता था?

    बुद्धिमान राजा की कहानी में राजा अपनी बेटी सुरेखा राजकुमारी की शादी के लिए परेशान रहा करता था।

  2. राजा विक्रम सिंह इतनी ज्यादा लोकप्रिय क्यों थे?

    क्योंकि विक्रम सिंह राजा बहुत ज्यादा बुद्धिमान थे और उनके फैसले करने के तरीके बेहद निराले होते थे।

  3. राजा ने किस तरह से अपनी बेटी की शादी कराई?

    कहानी में राजकुमार के द्वारा ही बेटी को मनाने का कार्य सौंपा गया था इस कारण से राजकुमारी सुरेखा मान गई थी।

  4. किसी भी राजा की कहानी को कहां पड़ा जाए?

    अच्छी-अच्छी राजा की कहानी को पढ़ने के लिए इंटरनेट पर बहुत सारे कहानियां की वेबसाइट है जिस में StoryHindi.net वेबसाइट है जहां बहुत सारे कहानियां उपलब्ध है।

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